sad poetry in hindi on love

sad poetry in hindi on love | sad poetry in hindi | खिले है मेरे आंगन में बहार के फूल

sad poetry in hindi on love

खिले है मेरे आंगन में बहार के फूल

खिले है मेरे आंगन में बहार के फूल
मिले है मोहब्बत में मुझे ख़्वाब के फूल

सुनाता हूं जब बाते अपने महबूब की
तो जलने लगते है मुझसे गुलाब के फूल

जब भी आती है सावन की बरसाते यारा
महकने लगते है तब मेरी किताब के फूल

जो दिए थे तुमने मुझको आज भी मैने
संभालकर रखे है वो पहली मुलाकात के फूल

sad poetry in hindi on love
sad poetry in hindi
sad poetry in hindi on love
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