sad poetry in hindi
इश्क़ क्या है, मुझे बताने आया है
तू मुझे समझाने आया है
क्या है इश्क़, ये बताने आया है
पढ़ने ढाल दिये जिसने मुल्ला और मौलवी
तू उसे इश्क़ पढाने आया है
अपने महबूब की आँखों से पीने के लिये
जो समंदर तक को ठुकरा आया है
माना इश्क़ खुदा और खुदा को इश्क़ जिसने
तू उसे इश्क़ सीखाने आया है
हस्ते है जिसके हाल पर सब
तू उसे हसाने आया है
मेरे महबूब का दर ही मक्का और काबा मेरे लिये
तू उसके दर से मुझे उठाने आया है
सदके मैं अपने उस महबूब के
जो मेरे रोम, रोम मे समाया है
जोगी बन भटक रहा हूँ उससे मिलने को मैं
ओर तू मुझे घर ले जाने आया है
sad poetry in hindi
You have come to convince me
What is love, has come to tell me
Who has taught moolha and maulvi
You have come to teach him love
To drink with your lover’s eyes
Who has left the sea
From whom love is god and god is love
You have come to learn him love
Everyone laughs at him
You have come to make him laugh
My love’s house is Mecca and kaaba for me
You have come to pick me up at her house
I am ready to sacrifice myself on my love
Who is in every part of my body
I am wandering as a saint to meet her
And you have come to take me home