sad poetry in hindi

sad poetry in hindi on love | sad poetry in hindi | तेरी नज़र मुझको कत्ल करती रही

sad poetry in hindi on love

तेरी नज़र मुझको कत्ल करती रही

तेरी नज़र मुझको कत्ल करती रही
खून जिगर का जहर करती रही
मोहब्बत की प्यास बुझाने के लिए मैं
जानां उम्रभर रेगिस्तान में सफ़र करती रही

जुदाई के लम्हों को कैसे जिया मत पूछ
मेरी ही सांसे मुझको दफ़न करती रही
जिस बाग को खिलाया था तूने अपनी मोहब्बत से
बहार पतझड़ की उसको बंजर करती रही

जब भी सोचा नई शुरुआत करने का
तेरी यादें बीच में आकर दख़ल करती रही
मेरी तो सारी जिंदगी हमेशा से जानां
तेरे इर्द गिर्द रक्स करती रही

मोहब्बत की प्यास बुझाने के लिए मैं
जानां उम्रभर रेगिस्तान में सफ़र करती रही

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